Monday, 10 June 2013

           हे नाथ ! हे मेरे नाथ मैं आप को भूलूँ  नही

सब भाई बहन सावधान हो कर हरदम भगवान के चिंतन में लग जायँ हरदम भगवान से कहते रहे ,
की हे नाथ ! हे मेरे नाथ! ऐसी कृपा कर की मैं आप को भूलूँ नही , ऐसा हो जायं की सचमुच हम भगवान को कभी भूले ही नही, तब सच में हमारा कल्याण हो जाता है, सदा के लिए दुःख मिट जाता है महान आनन्द की प्राप्ति हो जाती है , इतना सस्ता सोदा और क्या होगा ? 

भगवान का जैसा स्वरुप  है उसको याद करो  और यह लगन लगादो की
 हे मेरे नाथ ! मैं आप को भूलूँ  नही
इस में अपने आप को खो दो फिर आप का सब काम ठीक हो जायेगा इसमें संदेह नही , ये राम बाण की तरह है |

भगवान ने गीता में अर्जुन को कहा है की तू सब समय में मेरा ध्यान कर और युद्ध भी कर
इसका तात्पर्य यह हुआ की समय पर तो काम धंधा करो और हरदम भगवान को याद भी करो,चलते फिरते , उठते बैठते , सोते जागते , काम करते हुए हर समय व्यकुल्ता पूर्वक सच्चे ह्रदय से कहते रहो ,
की हे नाथ ! हे मेरे नाथ मैं आप को भूलूँ  नही... आप शुध्द हो , अशुध्द हो , अछे हो , मंदे हो , स्वस्थ हो , बीमार हो , धनि हो , निरधन हो ,कैसे ही क्यों ना हो केवल भगवान को याद करो, ह्रदय से प्रेम से आर्त होकर, रोकर भगवान से कहो की  ,
हे मेरे नाथ ! ऐसी कृपा करो , मै आप को भूलूँ नही , केवल भगवान की याद मात्र से कल्याण हो जाय ! लगन आप की और कृपा भगवान की ! कितनी सुगम सरल बात है,

सच्चे ह्रदय से प्रार्थना जब भक्त सच्चा गाय है
तो भक्तवत्सल कान में वह पहुँच झट ही जाय  है

भगवान के सब जगह कान है ,
हम बोलते है भगवान के कानोमे ही बोलते है
इसलिए अभी  कहना सुरु कर दो की हे नाथ मैं आप को भूलूँ नही , अगर ह्रदय में भाव कम हो तो भी कहना सुरु करदो , कहते कहते नक़ल भी असल हो जाती है ,

झूट इतनी बार कहा की सच्च हो गया !
ए मेरे श्याम मुझे तुमसे प्यार हो गया !!
अब लगता है जिना तेरे बिन दुस्वार हो गया !!

भगवान की याद को अपने ह्रदय में ऐसे  बसालो की हम उनके बिन जी ही नही पाए, ऐसा हो जायेगा तब आपके सारे संकट दूर हो जायेंगे दुःख कभी आप को छू भी नही पायेगा , सुख ही सुख हो जायेगा ,  आप के सब मनोरथ पुरे हो जायेंगे 
           { जय जय श्री राधे }


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